मनोहर सूक्तियाँ -विचार जो बदल दें जिंदगी

मनोहर सूक्तियाँ

क्या एक विचार जिंदगी बदल सकता है ? मेरे अनुसार “हाँ” वो एक विचार ही रहा होगा जिसने रेलवे स्टेशन पर गाँधी जी को अन्याय के खिलाफ आवाज उठाने की ताकत दी .. और मोहन दास करमचंद महात्मा गाँधी बन गए | मनोहर सूक्तियाँ -विचार जो बदल दें जिंदगी Willie Jolley अपनी किताब It Only Takes a Minute to Change Your Life में कहते हैं .. वो विचार ही होता है जब हम कोई ऐसा निर्णय लेते हैं जो हमारी जिंदगी का टर्निंग पॉइंट होता है | अगर निजी तौर पर बात कहूँ तो एक लोकोक्ति के रूप में मेरे नाना जी ने मन की गीली मिट्टी पर एक विचार रोप दिया था “चटोरी खोए एक घर बतोडी खोए चार घर ” अर्थात जिसे अच्छे अच्छे खाने का शौक होता है वो अपने घर के ही पैसे बर्बाद करता है | लेकिन जिसे फालतू बात करने का शौक होता है वो अपने साथ चार लोगों का समय बर्बाद करता है | कयोकि बात करने के लिए चार लोग चाहिए | यहाँ समय की तुलना सीधे -सीधे धन से की गई है | इस बात को समझ कर मैंने हमेशा समय को बर्बाद होने से बचाने की कोशिश की | निश्चित तौर पर आप लोगों के पास भी ऐसे किस्से होंगे जहाँ एक विचार आपके जीवन का उसूल बन गया | ऐसी ही एक किताब “हीरो वाधवानी ” जी की उपहार स्वरूप मेरे घर में आई | 246 पेज की इस किताब में 180 पेज में सूक्तियाँ या जीवन संबंधी विचार हैं ,जो हमें प्रेरणा देते हैं या सोचने पर विवश करते हैं | बाकी पेज में समीक्षात्मक लेख हैं | कुछ सूक्तियाँ साझा कर रहीं हूँ .. ईश्वर ने हमें एक मुँह और दो हाथ -पैर इसलिए दिए हैं ताकि हम कहें कम करें अधिक | क्रोध और अहंकार करने वाले बाहर से भले द्रण लगें अंदर से कमजोर होते हैं | मित्रता तोड़ना आईने तोड़ने जैसा है | तेज आँधी नहीं घर का क्लेश नींव को हिला देता है | ईश्वर ने सबसे अधिक हड्डियाँ इंसान के पैरों में रखीं हैं ताकि वो अपने पाँव से चले दूसरे के कंधे पर सवार ना हो | ईर्ष्यालू अंधा होता है क्योंकि वो जिससे ईर्ष्या करता है उसके परिश्रम व प्रयत्नों को नहीं देखता | ऐसी बहुत सारी जीवन उपयोगी सूक्तियाँ हैं जिन्हे एक झटके में न पढ़ कर रोज एक पेज पढ़ कर मनन करने से जीवन में अवश्य परिवर्तन आएगा | एक अच्छी व अलग किताब के लिए “हीरो वधवानी जी को बधाई व शुभकामनाएँ | वंदना बाजपेयी पगडंडियों पर चलते हुए -समाज को दिशा देती लघुकथाएं बस कह देना कि आऊँगा- काव्य संग्रह समीक्षा एक टीचर की डायरी – नव समाज को गढ़ते हाथों के परिश्रम के दस्तावेज आपको मनोहर सूक्तियाँ -विचार जो बदल दें जिंदगी समीक्षा कैसी लगी ? अपने विचारों से हमें अवगत कराएँ अटूट बंधन की साइट सबस्क्राइब करें अटूट बंधन फेसबुक पेज लाइक करे